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MPs salary : संसद को सैलरी के साथ-साथ मिलती है ये सुविधाएं

Government facilities to MPs : आज देश में 543 सांसद है और तगड़ी वोटिंग के बाद ही जनता इनका चुनाव करती है। सांसद बनने के बाद एक सांसद को काफी तगड़ी सैलरी मिलती है और इसके साथ ही सरकार द्वारा बहुत सारी सुविधाएँ भी मिलती है। इनके बारे में ज्यादातर लोग नहीं जानते, आइए आज हम आपको इसके बारे में बताने जा रहे हैं...
 

Trending Khabar TV (ब्यूरो) : सांसद पद को रुतबे और पावर के लिए जाना जाता है। इनके पास कानून को बनाने और उसे बदलना का अधिकार होता है। सरकार की नीतियों की समीक्षा करना हो या आलोचना, सांसद के पास ये अधिकार हैं। शपथ ग्रहण के बाद सांसद लोकसभा के आधिकारिक सदस्य बन गए हैं। शपथ लेने के बाद ये माननीय सांसद कहलाते हैं।

सरकार को सलाह देने के साथ, सदन में बहस करना, अंतराष्ट्रीय मामलों में भागीदारी और अंतरराष्ट्रीय सम्मेलनों देश का प्रतिनिधितत्व करने का काम भी सांसद करते हैं। यह तो हुई सांसदों की जिम्मेदारियों और अधिकारों की बात, अब यह भी जान लेते हैं कि इन्हें कितनी सैलरी मिलती है और कितनी तरह के भत्ते मिलते हैं?


मिलता है खास बंगला


संसद का आधिकारिक सदस्य बनने के बाद सबसे खास है लुटियंस दिल्ली में मिलने वाला सरकारी बंगला। हर महीने वेतन और पेंशन, मुफ्त हवाई, रेल और सड़क यात्रा, फ्री टेलीफोन और इंटरनेट सुविधा। 


सैलरी के साथ कई अन्य सुविधाएं


सांसदों को सैलरी के साथ कई अन्य सुविधाएं भी मिलती हैं। बता दें कि संसद सदस्य (वेतन, भत्ता और पेंशन) अधिनियम 1954 के तहत एक सांसद को सैलरी और अन्य सुविधाएं दी जाती हैं। 

1 लाख रुपये वेतन 


वर्तमान में, संसद सदस्य (वेतन, भत्ता और पेंशन) अधिनियम 1954 के तहत, भारतीय सांसदों का मूल वेतन ₹1,00,000 प्रति माह दिया जाता है जो विभिन्न भत्तों और सुविधाओं के अतिरिक्त है। 


किलोमीटर के हिसाब से अलग भत्ता


किसी सदन के सत्र में या किसी समिति की बैठक में उपस्थित होने या संसद सदस्य से जुड़े किसी भी काम से यात्रा करने पर अलग भत्ता दिया जाता है। वहीं सासंद जब सड़क मार्ग के जरिए यात्रा करते हैं, तो उन्हें 16 रुपये प्रति किमी के हिसाब से अलग भत्ता मिलता है।


सरकारी भत्ता 


वहीं सरकारी काम के सिलसिले में विदेश जाने पर भी सांसद को सरकारी भत्ता दिया जाता है। इसके अलावा सांसद को सरकारी खर्च पर सुरक्षाकर्मी और केयर-टेकर भी मिलते हैं।


घर के लिए भत्ता


सांसद को हर महीने 70 हजार रुपये निर्वाचन क्षेत्र भत्ते के रूप में मिलते हैं। वहीं सांसद को दिल्ली स्थित अपने निवास या दिल्ली के कार्यालय में टेलिफोन लगवाने पर कोई चार्ज नहीं देना होता है। 


खर्च उठाती है सरकार


सारे बिलों का खर्च सरकार उठाती है। वहीं उसे 50 हजार फ्री लोकल कॉल की सुविधा मिलती है। वहीं एक सांसद को कार्यालय व्यय भत्ते के रूप में हर महीने 60 हजार रुपये मिलते हैं।


रेलवे पास


एक सांसद को एक रेलवे पास भी दिया जाता है।  इससे वह किसी भी समय रेलवे से मुफ्त में यात्रा कर सकता है। किसी भी ट्रेन की फर्स्ट क्लास एसी या एग्जिक्यूटिव क्लास में पास मान्य होता है। 


स्वास्थ्य सुविधाएं


इसके अलावा हर सांसद को मेडिकल सुविधाएं भी मिलती है। सरकारी या रेफर कराने के बाद किसी प्राइवेट अस्पताल में अगर इलाज, ऑपरेशन होता है, तो उस इलाज का पूरा खर्च सरकार उठाती है।